शिक्षा को सिर्फ अक्षर ज्ञान न समझ दिया सामाजिक चेतना का रूप , अब मिलेगा राष्ट्रपति से पुरस्कार
मंदसौर। शिक्षक दिवस पर 5 सितंबर को राष्ट्रपति पुरस्कार से सम्मानित होने वालों में मध्य प्रदेश से भी दो शिक्षकों का चयन हुआ है. इनमें से मंदसौर की शिक्षिका डॉ.सुनीता गोधा भी हैं. 26 साल पहले पिपलिया मंडी की ग्रामीण पाठशाला में शिक्षाकर्मी के तौर पर नियुक्त हुई डॉ. सुनीता गोधा वर्तमान में मंदसौर तहसील के ग्राम खजुरिया सारंग में एकीकृत पाठशाला की संकुल प्राचार्य हैं. शिक्षण कार्य के अलावा उन्होंने बालिका शिक्षा, शाला त्यागी, आत्मनिर्भर छात्र निर्माण के अलावा छात्रों के जीवन संवारने वाले कई काम किए हैं.
लड़कियों को मुख्य धारा में लाने की मुहिम
डॉ. सुनीता गोधा सन् 1998 में जिले के पिपलिया मंडी के शासकीय कन्या माध्यमिक विद्यालय में बतौर शिक्षाकर्मी पदस्थ हुईं. वह लगातार 25 साल इस स्कूल में रहीं. पिपलिया मंडी एक उन्नत कस्बा होने के बाद भी स्कूल में छात्र संख्या काफी कम थी. इसके बाद डॉ. गोधा ने सबसे पहले गरीब तबके की युवतियों को शिक्षा के क्षेत्र से जोड़ने और उन्हें मुख्य धारा में लाने का काम किया. इस इलाके में उन्होंने पिछले 25 सालों के दौरान 1100 बालिकाओं को शिक्षा से जोड़कर प्राथमिक और उच्च शिक्षाएं दिलवाई. स्कूल में पढ़ाई के समय के बाद वे रोजाना व्यक्तिगत तौर पर उन शालात्यागी बच्चों के माता-पिता से जरूर मिलती रहीं, जो बच्चों को बीच में ही पढ़ाई छुड़वाकर मजदूरी पर लगा देते थे.
सामाजिक बुराइयों के खिलाफ चलाती हैं अभियान
डॉ.गोधा एक नाट्यकार भी हैं. वह स्कूल के छात्र-छात्राओं के साथ गांव-गांव जाकर नुक्कड़ नाटक के जरिए भी पालकों और छात्रों को शिक्षा से जोड़ने का काम करती रहीं. समाज सेवा और शिक्षा को अपना लक्ष्य बना चुकी डॉ. गोधा ने बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ, स्वच्छता अभियान, कन्या भ्रूण हत्या की रोकथाम के क्षेत्र में भी कई काम किए हैं. डॉ.सुनीता गोधा ने इतिहास में पीएचडी की है. इसके अलावा उन्होंने सामाजिक विज्ञान में भी एमए भी किया है. समाज की बुराइयों को मिटाने के साथ ही गोधा ने अब छात्रों को आत्मनिर्भर बनाने का बीड़ा उठाया है. वह प्रतिदिन सभी कक्षाओं में एक-एक विषय का अध्यापन भी करवाती हैं. इसी दौरान वे छात्र-छात्राओं को प्राथमिक चिकित्सा, करियर काउंसलिंग, पुरातत्व विज्ञान ,पर्यावरण संरक्षण, जल जीवन और डिजिटल इंडिया पर भी ज्ञान देती हैं.
कोरोना काल में भी समाजसेवा की
डॉ. गोधा की पाठशाला के प्राथमिक कक्षाओं के छात्रों को डिजिटल इंडिया और एआई तकनीक का भी ज्ञान है. उन्होंने कोरोना काल में बंद हुए स्कूलों के दौरान भी घर पर क्वॉरेंटाइन रहने के बजाय शासकीय और निजी चिकित्सालय में मरीज और परिजनों की काफी मदद की. इसीलिए उन्हें 2018 में राज्यपाल आनंदी बेन पटेल ने भी सर्वश्रेष्ठ शिक्षक और 2024 में उपमुख्यमंत्री जगदीश देवड़ा ने समाज सेवक, शिक्षिका के बतौर भी सम्मानित किया था.
On the occasion of Teachers' Day on 5 September 2024, not only Mandsaur district but the whole of Madhya Pradesh will be glorified by Dr. Sunita Gaudha, who will be honored with the National Award by the President of India, Madam Draupadi Murm, considering her as a leading ambassador in the field of education. Dr. Sunita Godha, Principal of Government High School of village Khajuria Sarang under Daloda tehsil of Mandsaur district, will be honored with the National Award by the President of India, Draupadi Murm, on the occasion of Teachers' Day on 5 September 2024.