अगर यूरोपीय लोग 5 नवंबर को अमेरिका के अगले राष्ट्रपति का चुनाव कर सकें, तो परिणाम बिलकुल स्पष्ट होगा. पश्चिमी यूरोप में 69 फीसदी और पूर्वी यूरोप में 46 फीसदी लोग डेमोक्रेटिक उम्मीदवार कमला हैरिस को वोट देंगे.

अक्टूबर में पोलस्टर नोवस और गैलप इंटरनेशनल द्वारा किए गए सर्वे के अनुसार, रिपब्लिकन उम्मीदवार डॉनल्ड ट्रंप को पश्चिमी यूरोप में केवल 16 फीसदी और पूर्वी यूरोप में 36 फीसदी मतदाताओं का समर्थन प्राप्त होगा.

हैरिस की रेटिंग सबसे ज्यादा डेनमार्क (85 फीसदी) और फिनलैंड (82 फीसदी) में है. जबकि, यूरोप में डॉनल्ड ट्रंप के सबसे ज्यादा प्रशंसक सर्बिया (59 फीसदी) और हंगरी (49 फीसदी) में हैं. ये दोनों ही देश तेजी से निरंकुश होते जा रहे हैं. दूसरे शब्दों में कहें, तो इन दोनों देशों में एक समूह पूरी तरह से सत्ता पर काबिज हो रहा है, जिससे लोगों की स्वतंत्रता खतरे में पड़ रही है.

ट्रंप के प्रशंसकों की संख्या कम है

हंगरी से यूरोपीय संसद के सदस्य आंद्रेस लाजलो ने डीडब्ल्यू से कहा, "अगर ट्रंप चुनाव जीतते हैं, तो यह सबसे अच्छी बात होगी.” लाजलो हंगरी के प्रधानमंत्री विक्टर ओरबान की पार्टी फिडेस के सदस्य हैं. इस पार्टी को रूस का समर्थक माना जाता है.

दक्षिणपंथी राष्ट्रवादी विचार वाले नेता लाजलो ने कहा, "अमेरिका के लोग वहां की राजनीति में बदलाव चाहते हैं. वे मौजूदा स्थिति से तंग आ चुके हैं और ट्रंप ही इसे बदल सकते हैं.”

उन्होंने आगे कहा कि ब्रसेल्स यानी यूरोपीय संघ में भी इस तरह के बदलाव की जरूरत है. उन्होंने पूछा, "क्या हम यूक्रेन, मध्य-पूर्व और दक्षिण पूर्व एशिया में बढ़ते संघर्ष को रोक सकते हैं?” उनकी राय में, सिर्फ ट्रंप ही इस मामले में पूरी दुनिया का नेतृत्व कर सकते हैं.

यूरोपीय संघ की समिति की अध्यक्षता समय के हिसाब से बदलती रहती है. इस समय हंगरी यूरोपीय संघ की परिषद की अध्यक्षता कर रहा है. हंगरी के पीएम ओरबान ने इस साल कीव, मॉस्को, बीजिंग और पाम बीच पर स्थित ट्रंप के निवास के लिए ‘शांति मिशन' पर निकलकर यूरोपीय संघ में गुस्सा पैदा कर दिया.

ओरबान का मानना है कि डॉनल्ड ट्रंप कुछ ही दिनों में यूक्रेन में रूसी युद्ध को समाप्त कर सकते हैं. अक्टूबर में, ओरबान ने कहा कि ट्रंप की जीत के बाद शानदार जश्न मनाया जाएगा. यूरोपीय संघ और नाटो में सिर्फ ओरबान ही एक ऐसे राष्ट्र प्रमुख हैं जिनका यह विचार है.

ब्रसेल्स स्थित सेंटर फॉर यूरोपियन पॉलिसी स्टडीज के सीनियर रिसर्च फेलो स्टीवन ब्लॉकमैन ने डीडब्ल्यू को बताया, "हालांकि, नीदरलैंड से लेकर जर्मनी और इटली तक के कई दक्षिणपंथी और राष्ट्रवादी विचार वाले नेता निश्चित रूप से ओरबान से सहमत हैं. वे डॉनल्ड ट्रंप की जीत से उत्साहित महसूस कर सकते हैं.”

हैरिस की नीतियों के बारे में ज्यादातर लोगों को पहले से ही अनुमान

यूरोपीय संघ के अधिकांश राष्ट्र प्रमुख हैरिस का समर्थन करते हैं. जर्मन चांसलर ओलाफ शॉल्त्स ने एक टीवी इंटरव्यू में कहा, "मैं उन्हें अच्छी तरह से जानता हूं. वे निश्चित रूप से एक अच्छी राष्ट्रपति होंगी.”

शॉल्त्स ने ट्रांस-अटलांटिक सहयोग का जिक्र करते हुए कहा कि हमारे लिए जो महत्वपूर्ण है, हैरिस उस पर टिकी रहना चाहती हैं.

हैरिस की जीत पर यूरोप की क्या प्रतिक्रिया होगी? इस सवाल के जवाब में ब्लॉकमैन ने डीडब्ल्यू से कहा, "बिलकुल राहत की सांस.” हैरिस की नीतियों के बारे में ज्यादातर लोगों को पहले से ही अनुमान है. वह चार साल तक अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन के अधीन उपराष्ट्रपति रही हैं.

उन्होंने आगे कहा, "यूरोप में रणनीतिक तौर पर आत्मनिर्भर होने के बारे में काफी ज्यादा चर्चा होती है. इसके बावजूद, यूरोप अमेरिका पर अधिक निर्भर हो गया है, खासकर सुरक्षा और ऊर्जा के मामले में.”

न्यूज़ सोर्स : ag