सतना  -  म.प्र. जन अभियान परिषद एवं महात्मां गांधी चित्रकूट ग्रामोदय विश्वविद्यालय चित्रकूट के संयुक्त तत्वाधान में मुख्यमंत्री सामुदायिक नेतृत्व क्षमता विकास पाठयक्रम अंतर्गत परामर्शदाताओं का दो दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम 21 एवं 22 जनवरी 2025 को विन्ध्य चेम्बर्स ऑफ कामर्स एण्ड इण्डस्ट्रीज सतना में आयोजित किया गया। कार्यक्रम के शुभारंभ अवसर पर मुख्य अतिथि के रूप में महात्मा गांधी चित्रकूट ग्रामोदय विश्वविदयालय के कुलगुरू डॉ. भरत मिश्रा उपस्थित रहे। कार्यक्रम की अध्यक्षता प्रो. अमरजीत सिंह डायरेक्टर मुख्यमंत्री सामुदायिक नेतृत्व क्षमता विकास पाठयक्रम रहे। विशिष्ट अतिथि के रूप में प्रो. नंदलाल मिश्रा डीन कला संकाय, प्रो. जयशंकर मिश्रा उप कुलसचिव महात्मां गांधी चित्रकूट ग्रामोदय विश्वविद्यालय चित्रकूट, प्रोअजय आर चौरे, विभागाध्यक्ष समाजकार्य विभाग एवं म.प्र. जन अभियान परिषद संभाग रीवा के संभाग समन्वयक श्री प्रवीण पाठक उपस्थित रहे।

प्रशिक्षण में सम्मलित #सतना एवं #मैहर जिले के सभी विकासखण्डों से सम्मलित परामर्शदाताओं को संबोधित करते हुये कुलगुरू प्रो. भरत मिश्र ने बताया कि मुख्यमंत्री सामुदायिक नेत़त्व क्षमता विकास कार्यक्रम मध्यप्रदेश शासन की अभिनव पहल है जिसके माध्यम से प्रदेश भर के युवाओं को शिक्षा के साथ नेत़त्व क्षमता विकसति करनें का कौशल भी मिलता है। आज पूरे प्रदेश के 313 विकासखण्डों में 50 हजार से अधिक छात्र प्रशिक्षित होकर शासन एवं सामाजिक संस्थाओं के साथ वालंटियर के रूप मे अपनी सहभागिता देकर प्रदेश के विकास में अपना मूल्यवान सहयोग प्रदान कर रहे हैं। मुझे इस बात की प्रसन्नता है कि हमारा विश्वविद्यालय नैक के मूल्यांकन में ए प्लस-प्लस ग्रेड प्राप्त किया है जो कि शिक्षा जगत में सर्वोच्च ग्रेड है। आयोजित प्रशिक्षण के शैक्षणिक सत्र में प्रो. अमरजीत सिंह द्वारा मुख्यमंत्री सामुदायिक नेतृत्व क्षमता विकास कार्यक्रम एवं सतत् विकास लक्ष्य, अवधारणा, उद्देश्य, राष्ट्रीय शिक्षा नीति के विविध प्रावधान, इंटर्नशिप एवं अन्य संबंधित आयाम रोलप्ले के माध्यम से अभ्यासके विषयों पर प्रकाश डालते हुए समस्त परामर्शदाताओं को जानकारी प्रदान की गई। प्रो. जयशंकर मिश्रा, उपकुल सचिव द्वारा सीएमसीएलडीपी पाठ्यक्रम संचालन की मूल गतिविधियां एवं परामर्शदाता की भूमिका (पंजीयन, प्रवेश, वैकल्पिक एवं व्यावसायिक विषयों का चयन, मॉड्यूल्स की जानकारी, सामाजिक प्रयोगशाला के रूप में ग्राम का चयन, संपर्क कक्षा, प्रदत्त कार्य, प्रोजेक्ट एवं इंटर्नशिप, आंतरिक एवं बाह्य परीक्षा), छात्रों से अपेक्षाओं पर चर्चा की गई। प्रो. नंदलाल मिश्रा प्रोफेसर संपर्क कक्षा संचालन की पद्धति (व्याख्यान,विचार विमर्श, ब्रेन स्टॉर्मिंग, रोल-प्ले इत्यादि) संपर्क कक्षाओं को प्रभावी कैसे बनायें। जिला समन्वयक डॉ राजेश तिवारी द्वारा सहभागी अध्ययन पद्धति के संबंध में विस्तार से चर्चा करते हुये उसकी आवश्यकता, तकनीकि, आयोजन का स्वरूप, विभिन्न आयाम को विस्तार पूर्वक बताते हुये आदर्श ग्राम के निर्माण में उसकी भूमिका एवं औचित्य की जानकारी प्रदान की गयी। कार्यक्रम के अंत में प्रशिक्षणार्थियों का प्रस्तुतिकरण एवं जिज्ञासाओं का समाधान किया गया तथा अंत में मंचासीन अतिथियों के द्वारा सभी प्रतिभागी परामर्शदाताओं को प्रमाणपत्र प्रदान कर सम्मानित किया गया। आभार प्रदर्शन के उपरान्त कार्यक्रम का समापन हुआ।

न्यूज़ सोर्स : ipm