रायसेन/मंडीदीप-  बाल विवाह मुक्त भारत अभियान के अंतर्गत सोमवार देर शाम शीतल टाउन की महिला नेत्रियों ने कैंडिल मार्च निकाला। बाल विवाह अपराध है बच्चों के लिए अभिश्राप है,बाल विवाह बंद करो बचपन को स्वतंत्र करो के नारे लगते सन्देश दिया। इसके पूर्व दुर्गा पंडाल के सामने सामूहिक सपथ ली। कहा हम न बाल विवाह करेंगे और बाल विहार रोकने के लिए हर संभव प्रयास करेंगे। महिला नेत्री गंगा खातरकर ने बताया कि कैलास सत्यर्थी चिल्ड्रन फॉउंडेशन की सहयोगी संस्था कृषक सहयोग संस्थान के जिला समन्वयक अनिल भवरे ने उन्हें बाल विवाह विरोधी अभियान में सम्मलित होने के लिए प्रेरित किया। 

कैंडिल मार्च के पूर्व दिलाई सपथ-
मात्र शक्ति सेवा समिति की महिलाओं के नेतृत्व में शीतल टाउन स्थित मंदिर परिसर के सामने लगभग 250 से अधिक महिलाओं  को शपथ दिलाई गई। उन्होंने सामुहिक रूप से सपथ ली कि वे न तो बाल विवाह का समर्थन करेंगे और न इसे बर्दाश्त करेंगे। जिला संयोजक अनिल भवरे ने बताया कि महिला संगठन की 250 से अधिक महिलाओं ने इस अभियान से जुड़कर बाल विवाह के विरोध में जनजागरण करने के लिए संकल्प लिया है। वहीं बाल विवाह के खिलाफ 82 स्कूलों में निकाली रैली गई। शाम को कैंडिल मार्च में 
8 हजार से अधिक महिलाओं और बच्चों ने बाल विवाह के खिलाफ जनजागरण करने का लिया संकल्प लिया। 

इसमें गंगा खातरकर,शीतल पाटिल,डालिका पाल,स्मिता सहित बड़ी संख्या में महिलाओं ने भाग लिया।

पारंपरिक ढपले के साथ निकाली रैली-
संस्था के निदेशक डॉ एच बी सेन ने बताया "बाल विवाह वो अपराध है जिसने सदियों से हमारे समाज को जकड़ रखा है। 
 प्रशासन के मार्गदर्शन में जिले को बल विवाह मुक्त बनाने लगातार गतिविधियां की जा रही हैं। गांवों मे स्कूली विद्यार्थियों ने पारंपरिक ढपले और विभिन्न तरीकों से सन्देश दिया। सरकार द्वारा बाल विवाह मुक्त भारत बनाने के प्रति दिखाई गई प्रतिबद्धता और प्रयासों से जल्द ही एक ऐसे माहौल और तंत्र का मार्ग प्रशस्त होगा। जहां बच्चों के लिए ज्यादा सुरक्षित और निरापद वातावरण होगा। इन दोनों द्वारा साथ मिल कर उठाए गए कदमों और लागू किए गए कानूनों के साथ समाज व समुदाय की भागीदारी 2030 तक बाल विवाह मुक्त भारत सुनिश्चित करेंगी।"

शासकीय विभागों का रहा भरपूर सहयोग-
जानकारी देते हुए संस्था की समन्वयक रेखा श्रीधर ने बताया कि यह अभियान जिले के 150 गांवों में चलाया जा रहा है।संस्था का लक्ष्य 2030 तक भारत को बाल विवाह मुक्त करना है। इस अभियान में जिला कलेक्टर महिला बाल विकास विभाग शिक्षा विभाग,श्रम विभाग, पंचायत विभाग एवं विधिक सेवा प्राधिकरण ने ग्राम स्तर पर लोगों को जागृत करने के लिए सहभागिता निभाई।

जिले के 150 गांवों में हुआ आयोजन-
जिले के विभिन्न गांवों में दिन में रैली निकाली और शाम को कैंडिल मार्च निकाला गया। इस दौरान
साथियों ने नारे लगाए,हमने यह ठाना है,बाल विवाह मिटाना है के नारे लागये। जिसमें बड़ी संख्या में स्कूली बच्चों, शिक्षकों के साथ संस्था के संस्था के कार्यकर्ता मीणा रैकवार,जगदीश शर्मा, राहुल यादव,गोविंद नाविक,प्रगति रैकवार, निखिल सेन चंद्रप्रकाश,विक्रम वर्मा,सौरभ लोधी,चेतन सेन,नेहा प्रजापति, शोभा चक्रवर्ती,अमित चक्रवर्ती शेरु अहिरवार सहित आशा एवं आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं,आजीविका मिशन के द्वारा बनाए गए स्वयं सहायता समूह के सदस्यों, बाल संरक्षण समिति शाला प्रबंधन समिति के सदस्यों ने विशेष सहयोग प्रदान किया।

न्यूज़ सोर्स : ipm