अहमदाबाद | 2002 के सांप्रदायिक दंगों को लेकर गुजरात को बदनाम करने के मामले में पूर्व आईपीएस अधिकारी बी श्रीकुमार को अहमदाबाद सेशन्स कोर्ट से बड़ा झटका लगा है| कोर्ट ने श्रीकुमार की उस याचिका को खारिज कर दिया है, जिसमं उन्होंने मामले से मुक्ति देने की मांग की थी| बता दें कि गुजरात दंगे और तत्कालीन मुख्यमंत्री नरेन्द्र मोदी को बदनाम करने के मामले में सामाजिक कार्यकर्ता तीस्ता सेतलवाड, आरबी श्रीकुमार और संजीव भट्ट के खिलाफ मामला दर्ज किया गया और इसकी सुनवाई चल रही है| मामला दर्ज होने के बाद हलफनामे में चौंकाने वाले खुलासे हुए हैं| पूरे मामले से मुक्ति के लिए पूर्व आईपीएस अधिकारी बी श्रीकुमार ने अहमदाबाद के सेशन्स कोर्ट में अपील की थी| जिसमें उन्होंने कहा कि उनके खिलाफ पूर्वाग्रह रखते हुए सरकार ने इस मामले से उन्हें जोड़ा है| उनके खिलाफ कोई मामला नहीं बनता इसलिए उन्हें आरोपमुक्त किया जाए| हांलाकि श्रीकुमार की इस याचिका का सरकारी वकील ने विरोध किया| गौरतलब है श्रीकुमार की याचिका पर गत 12 जून को दलीलें पूर्ण हो गई थीं| दोनों पक्षों की ओर से धारदार दलील की गई थी| दोनों पक्षों की दलीलें पूर्ण होने के बाद आज सेशन्स कोर्ट ने आईपीएस बी श्रीकुमार की मामले से मुक्ति देने की याचिका को खारिज कर दिया है| सेशन्स कोर्ट इस मामले पर अगले सुनवाई 26 जून को करेगी|